शासन ने राज्य कर्मचारियों को 30 सितंबर तक संपत्ति का ब्योरा देने का अंतिम मौका दिया था। इस तिथि तक ब्योरा न देने वाले कर्मचारियों का सितंबर माह का वेतन भी रोकने का आदेश दिया गया है। प्रदेश में कुल 827583 राज्य कर्मी हैं। इनमें से 788506 कर्मियों ने सोमवार की शाम छह बजे तक मानव संपदा पोर्टल पर अपनी चल-अचल संपत्ति बता दी। इस तरह से 39077 कर्मचारी अभी भी शेष हैं।
यहां बता दें कि आईएएस, आईपीएस, पीसीएस और पीपीएस अफसरों को मानव संपदा पोर्टल पर संपत्ति का ब्योरा देने से छूट मिली है। इन अधिकारियों के लिए केंद्र सरकार के एक अन्य पोर्टल ''स्पैरो'' पर अपनी संपत्ति का खुलासा करने का प्रावधान है।
संपत्ति का ब्योरा देने वाले प्रमुख विभागों के कर्मचारी

| विभाग | कुल कर्मी | ब्योरा देने वाले कर्मी |
| पुलिस | 316633 | 315337 (99 प्रतिशत) |
| पीडब्ल्यूडी | 32211 | 31821 (98 प्रतिशत) |
| राजस्व | 62134 | 51641 (83 प्रतिशत) |
| चिकित्सा शिक्षा | 76247 | 64443 (84 प्रतिशत) |
| जल शक्ति | 45045 | 42430 (94 प्रतिशत) |
| कृषि | 13446 | 13410 (99 प्रतिशत) |
| आयुष | 11408 | 10940 (95 प्रतिशत) |
| पंचायतीराज | 109007 | 106907(98 प्रतिशत) |
| माध्यमिक शिक्षा | 21336 | 19954 (93 प्रतिशत) |
| पशुधन | 9485 | 9301 (98 प्रतिशत) |
37 प्रतिशत पीपीएस अफसरों ने नहीं बताई संपत्ति
प्रांतीय पुलिस सेवा के 37 प्रतिशत अधिकारियों ने अपनी चल-अचल संपत्ति का ब्योरा शासन को नहीं दिया है। इन अधिकारियों के लिए ''स्पैरो'' पर संपत्ति का ब्योरा देने के लिए सॉफ्टवेयर विकसित होना है। इसलिए उन्हें ऑफलाइन ही 7 सितंबर तक ब्योरा देने के निर्देश दिए गए थे। शासन के सूत्रों के मुताबिक, प्रदेश के कुल 1021 पीपीएस अधिकारियों में से 648 ने ही अभी तक संपत्ति की घोषणा की है।